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कृषि उपज मंडी: कल से शुरू होगा कारोबार

2020-05-14 607 Dailymotion

बारां जिले में किसानों और प्रशासनिक दबाव के चलते 15 मई को कृषि उपज मंडी मे कारोबार खुलने की संभावना जताई जा रही है। 7 मई को बंद हुए मंडी कारोबार से जहां एक ओर हम्माल मजदूरों व किसानों को परेशानी उठानी पड़ रही है। वहीं व्यापारियों को भी आर्थिक नुकसान हो ही रहा है। वहीं जिले में प्रशासन की पहल व समझाइश पर छीपाबड़ोद की लहसुन और अनाज मंडी में कारोबार शुरू हो गया है। बारां कृषि उपज मंडी स्थित लहसुन मंडी में तो 28 अप्रैल से ही कारोबार ठप पड़ा हुआ है। उस समय व्यापारियों ने मंडी प्रशासन से लहसुन मंडी बंद करने की लिखित में मांग की थी। जिसमें बताया गया था। कि न तो यहां सोशल डिस्टेंस की पालना हो रही है, न ही मजदूर मिल रहे हैं। इन हालातों में मंडी चलाना संभव नहीं है। वहीं सूत्रों ने बताया था कि देश के विभिन्न हिस्सों में उस समय लेवाली नहीं निकलने के कारण व्यापारियों ने यह निर्णय लिया था, क्योंकि इतने माल को स्टॉक करना संभव नहीं हो पा रहा था। उसके कुछ समय बाद ही जब वापस लेवाली की मांग निकली तो 6 मई को फिर लहसुन व्यापार संघ ने मंडी चालू करने की मांग की थी। जिसमें अधिकतम पांच हजार कट्टे लहसुन बिक्री की इजाजत देने के लिए कहा गया। लेकिन एक दिन बाद ही किसान कल्याण कोष के लिए 2फीसदी टैक्स को लेकर व्यापारियों की प्रदेश व्यापी हड़ताल के कारण लहसुन मंडी खुलना संभव नहीं हो पाया। वहीं जिले के छीपाबड़ोद कस्बा स्थित लहसुन व अनाज मंडी शुरू हो गई है। बारां कृषि उपज मंडी के सचिव मनोज मीणा ने बताया कि किसानों की मांग के चलते व्यापारियों से वार्ता कर समझाइश की जिसके बाद छीपाबड़ोद और कवाई मे लहसुन व अनाज मंडी में कारोबार शुरू हुआ। वहीं दूसरी ओर बारां कृषि उपज मंडी के क वर्ग व्यापार संघ के अध्यक्ष हेमराज गोयल ने बताया कि लगातार किसानों व प्रशासन का मंडी खोलने के लिए दबाव बढ़ता जा रहा है। ऐसे हालातों में अब अधिक समय तक मंडी को बंद नहीं रखा जा सकता है, इसलिए निर्णय कुछ भी हो 15 मई से मंडी खोलने का प्रयास रहेगा। आपको बता दें कि जिले की मंडियों से लहसुन देश के यूपी, बिहार, गुजरात,एमपी, महाराष्ट्र समेत साउथ के बेंगलूरू , मदुरई तक लहसुन की लेवाली निकलती है। जहां से भी लगातार मांग बनी हुई है।

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