<p>नई दिल्ली: वर्ल्ड पैलिएटिव केयर डे के मौके पर अस्पतालों और स्वास्थ्य संस्थानों में लोगों को जीवन के अंतिम चरण में बेहतर देखभाल के महत्व के प्रति जागरूक किया गया. दिल्ली के दिलशाद गार्डन स्थित दिल्ली स्टेट कैंसर इंस्टिट्यूट में जागरुकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया. कार्यक्रम का उद्देश्य मरीजों को जीवन की सर्वोत्तम गुणवत्ता प्रदान करना है, ताकि वे अपने शेष जीवन को सम्मानपूर्वक और आराम से जी सकें. कार्यक्रम में शामिल डॉक्टर ने बताया कि पैलिएटिव केयर केवल कैंसर रोगियों के लिए नहीं, बल्कि उन सभी मरीजों के लिए है, जो किसी गंभीर, जीवन-सीमित या लाइलाज बीमारी से जूझ रहे हैं. इसका मकसद दर्द और लक्षणों को नियंत्रित कर मरीज को अधिकतम सहजता देना है. डॉक्टर के मुताबिक, पैलिएटिव केयर का संबंध सिर्फ इलाज से नहीं बल्कि “अच्छे से जीने” की सोच से है. इसमें मरीजों को आरामदायक माहौल, मानसिक सहयोग और पारिवारिक सहारा देकर उनके जीवन की गुणवत्ता को बेहतर बनाया जाता है. स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि ऐसी देखभाल हर उम्र के लोगों के लिए जरूरी है ताकि वे कठिन परिस्थितियों में भी गरिमा और सुकून के साथ जीवन बिता सकें.</p>
