<p>वोटर लिस्ट में सुधार की प्रक्रिया SIR के खिलाफ लड़ाई एक बार फिर सड़कों से सुप्रीमकोर्ट तक पहुंच गई है. पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने इसके खिलाफ सड़कों पर प्रदर्शन किया और जब बात नहीं बनी तो उन्होंने चुनाव आयोग को चिट्ठी लिखी. ममता बनर्जी ने SIR को खतरनाक बताते हुए इसे तुरंत रोकने की मांग की. उधर, केरल सरकार ने सुप्रीमकोर्ट में याचिका दायर कर SIR को चुनौती दी है. इस पर सुप्रीमकोर्ट ने चुनाव आयोग से जवाब मांगा है. </p><p>वहीं, देश के कई राज्यों में बूथ लेवल ऑफिसर्स यानी BLO की मौत की खबरों ने चिंता बढ़ा दी. एक तरफ SIR के खिलाफ तमाम तरह के तर्क दिए जा रहे हैं तो दूसरी तरफ चुनाव आयोग ने कड़ा रुख अख्तियार करते हुए साफ-साफ कह दिया है कि SIR की समय सीमा में कोई बदलाव नहीं होगा. </p><p>चुनाव आयोग के मुताबिक, SIR के दूसरे चरण की प्रक्रिया 7 फरवरी 2026 तक चलेगी. ईटीवी भारत के आज के एक्सप्लेनर में हम जानेंगे कि SIR क्या है? चुनाव आयोग SIR कैसे और क्यों करवाता है? SIR के तहत वोटर लिस्ट में नाम दर्ज करवाने के लिए किन-किन कागजातों की जरूरत होती है? साथ ही उन सभी सवालों के जवाब जो SIR को लेकर आपके मन में अक्सर उठते हैं.</p>
